शरद यादव की सदस्यता मामले पर अंतिम सुनवाई की तारीख तय

दिल्ली हाईकोर्ट ने जनता दल यूनाइटेड के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष शरद यादव की सदस्यता मामले पर सुनवाई के लिए अंतिम तारीख तय कर दी है। अंतिम सुनवाई के लिए 25 सितंबर की तारीख मुकर्रर की गई है। 25 सितंबर को दोनों पक्षों की मौजूदगी में कोर्ट की सुनवाई होगी। इससे पहले 11 सितंबर को कांग्रेस नेता और वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल शरद यादव की तरफ से पक्ष रखेंगे। इसके बाद 18 सितंबर को जेडीयू के वकील को दिल्ली हाईकोर्ट ने पक्ष रखने का समय दिया है।
ध्यातव्य है कि इससे पूर्व बीते सात जून को सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि शरद यादव बतौर सांसद मिलने वाले वेतन, भत्ते और दूसरी सुविधायें नहीं ले सकते, लेकिन वह सरकारी बंगले में रह सकते हैं। गौरतलब है कि शरद यादव को राज्यसभा की सदस्यता से अयोग्य घोषित किया जा चुका है, जिसे उन्होंने दिल्ली हाईकोर्ट में चुनौती दी है।
बता दें कि शीर्ष अदालत ने हाईकोर्ट के पिछले साल 15 दिसंबर के आदेश में संशोधन कर दिया है। इसी आदेश में शरद यादव को उनकी याचिका लंबित रहने के दौरान वेतन, भत्ते और दूसरी सुविधायें प्राप्त करने और सरकारी बंगले में रहने की अनुमति दी थी। जेडीयू के राष्ट्रीय महासचिव एवं शरद यादव के स्थान पर राज्यसभा में दल के नेता बनाए गए सांसद आरसीपी सिंह ने हाईकोर्ट में शरद यादव और अली अनवर को अयोग्य करार देने का अनुरोध करते हुए कहा था कि उन्होंने पार्टी के निर्देश का उल्लंघन करते हुए पटना में विपक्षी दलों की सभा में शिरकत की थी।
याद दिला दें कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार द्वारा गठबंधन छोड़ पुन: एनडीए के साथ सरकार बना लेने से शरद यादव नाखुश थे। उनकी नाराजगी इस कदर बढ़ गई थी कि उन्होंने बागी तेवर अपना लिए थे। इस दौरान लालू प्रसाद यादव और उनकी पार्टी आरजेडी से उनके मधुर संबंध बने और अब अपनी पार्टी लोकतांत्रिक जनता दल (लोजद) बनाकर वे तेजस्वी के साथ कदमताल करने की कोशिश में जुटे हैं।

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