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बगैर दृढ़ संकल्प के हिन्दी राष्ट्रभाषा नहीं बन पायेगी………!

मधेपुरा में 14 सितम्बर का दिन हिन्दी को समर्पित रहा | जहाँ एक ओर जिला मुख्यालय के समाहरणालय सभागार में डीएम मो.सोहैल (IAS) की अध्यक्षता में और बीएन मंडल विश्वविद्यालय के नये परिसर में कुलपति डॉ.अवध किशोर राय की अध्यक्षता में राष्ट्रीय हिन्दी दिवस मनाया गया वहीं दूसरी ओर भारतीय जन लेखक संघ के डॉ.मधेपुरी मार्ग स्थित केन्द्रीय कार्यालय में डॉ.अरुण कुमार साह की अध्यक्षता में हिन्दी दिवस के अवसर पर हिन्दी के उन्नयन के साथ-साथ पत्रकारिता जगत की गौरी लंकेश को श्रद्धांजलि भी अर्पित की गयी | इसके अलावे नेहरु युवा केन्द्र के साथ-साथ सदर बीआरसी में बीईओ जनार्दन प्रसाद निराला की अध्यक्षता में बच्चों ने भाषण प्रतियोगिता में भाग लेकर हिन्दी दिवस के महत्व पर जमकर प्रकाश डाला |

समाहरणालय सभागार में एसपी, सीएस, एडीएम एवं अन्य अधिकारियों, कर्मचारियों एवं गणमान्य जनसेवियों डॉ.भूपेंन्द्र मधेपुरी व प्रो.श्यामल किशोर यादव आदि को संबोधित करते हुए डीएम मो.सोहैल ने कहा-

“हिन्दी गंगा जैसी नदी है जिसमें हर नदी का जल समाहित है और गंगा हर नदी से जुड़ी भी है……. ठीक उसी प्रकार सभी भाषा में हिन्दी समाहित है…….. यदि हिन्दी नहीं होती तो भारत एक नहीं होता…..|”

इस अवसर पर एसपी विकास कुमार ने कहा कि पुलिस कार्यालयों में केस डायरी से लेकर न्यायालय से पत्राचार आदि सभी कार्यों में प्राय: हिन्दी के प्रयोग को प्राथमिकता दी जाती है | डॉ.गदाधर पाण्डेय सीएस एवं प्रो.श्यामल किशोर यादव ने भी हिन्दी के उन्नयन हेतु उद्गार व्यक्त किया |

इसी क्रम में समाजसेवी साहित्यकार डॉ.भूपेन्द्र मधेपुरी ने विस्तार से कमाल पाशा तुर्क से लेकर डॉ.एपीजे अब्दुल कलाम की चर्चाएं करते हुए कहा कि इन लोगों ने अपनी संकल्प शक्तियों का ऐसा मिसाल दुनिया को दिया जिस रास्ते पर यदि हम भारतवासी चलें तो हिन्दी को राजभाषा से राष्ट्रभाषा का गौरव पाने में अधिक देर नहीं लगेगी बशर्ते कि हम भारतीयों को अंग्रेजी के प्रति बढ़ रहे मोह को भंग करना होगा |

और अंत में डॉ.मधेपुरी ने समाजवादी मनीषी भूपेन्द्र नारायण मंडल द्वारा साठ के दशक में भारतीय संसद में हिन्दी के लिए जो कुछ कहा गया था उसे संदेश के रूप में सुनाया-

“…………. अध्यक्ष महोदय ! मैं हिन्दी के लिए पागल नहीं हूँ, परन्तु भारत में अंग्रेजी को बनाये रखने की कोशिश भारतीय जनक्रान्ति के साथ विश्वासघात है |”

 

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सीएम ने मधेपुरा डीएम को उनकी अनूठी पहल के लिए किया सम्मानित

बिहार और बिहार की सीमा के पार के लोगों द्वारा विकास पुरुष से सम्मानित मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पटना के ज्ञान भवन में आयोजित विश्व युवा कौशल दिवस कार्यक्रम के अवसर पर कौशल विकास कार्यक्रम में बेहतर प्रदर्शन करनेवाले सात जिलाधिकारियों एवं कुशल युवा कार्यक्रम के 10 सर्वोत्तम प्रशिक्षण केंद्रों को सम्मानित किया | मौके पर प्रशिक्षण में अव्वल रहे छात्र-छात्राओं को भी पुरस्कृत किया गया |

जहां मधेपुरा के डायनेमिक डीएम मो.सोहैल ने कुशल युवा प्रशिक्षित छात्रों के लिए नये रोजगार के विकल्प के तौर पर जीएसटी ऑपरेटर्स बनाने की राह तैयार की है वहीं नीतीश सरकार ने इस स्कीम को मॉडल के रूप में पूरे सूबे में लागू करने का निर्णय भी ले लिया है |

बता दें कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने विश्व कौशल विकास दिवस पर बिहार के 38 में से जिन सात जिले के जिलाधिकारियों को सम्मानित किया, वे जिले हैं- मधेपुरा, सहरसा, कटिहार, बेगूसराय, लखीसराय, बक्सर और मधुबनी तथा सम्मानित होने वाले डीएम क्रमशः- मो.सोहैल, विनोद सिंह गुंजियाल, मिथिलेश मिश्रा, मो.नौशाद यूसुफ, सुनील कुमार, रमन कुमार एवं शीर्षत कपिल अशोक |

हाँ ! इसके अतिरिक्त इस कार्यक्रम की देख-रेख करनेवाली कंपनी एम.के.सी.एल. के सीईओ विवेक सावंत, दीघा घाट ITI के उप-प्राचार्य के रूप में राहुल कुमार तथा घोघरडीहा के सर्वोत्तम प्राचार्य के रूप में अतुल रंजन को भी विकास पुरुष नीतीश कुमार के हाथों सम्मानित होने का अवसर प्राप्त हुआ |

यह भी जानिए की जन निजी सहभागिता के तहत चलाये जा रहे विभिन्न औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों में सर्वश्रेष्ठ मुंगेर संस्थान को मुख्यमंत्री द्वारा एक लाख का पुरस्कार दिया गया | साथ ही विज्ञान भवन में जो प्रदर्शनी लगाई गई उसे भी मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अपने सहयोगी मंत्रियों राजीव रंजन सिंह उर्फ ललन सिंह (योजना विकास मंत्री), मंजू वर्मा (समाज कल्याण मंत्री), महेश्वर हजारी (नगर विकास मंत्री) एवं विजय प्रकाश (श्रम संसाधन मंत्री) आदि के साथ घूम-घूमकर देखा और सराहना करते हुए अपना-अपना विचार व्यक्त किया |

इसी क्रम में श्रम संसाधन सचिव दीपक कुमार ने भावोद्गार व्यक्त करते हुए यही कहा कि मात्र 7 महीने में  सूबे में कौशल विकास केंद्रों की संख्या 48 से बढ़कर 1136 हो गई है और नामांकित प्रशिक्षणार्थियों की संख्या 1978 से बढ़कर एक लाख तेरह हज़ार हो गई है | अब तक मात्र 40 प्रखंड ऐसे बचे हैं जहां कौशल विकास केंद्र अपना दस्तक नहीं दे पाया है |

अंत में यह कि राज्य सरकार द्वारा डीएम को सम्मानित किये जाने पर शहरवासियों ने खुशी जतायी है | समाजसेवी डॉ.भूपेन्द्र मधेपुरी एवं शिक्षाविद प्रो.श्यामल किशोर यादव ने विभिन्न क्षेत्रों में जिले के विकास के लिए डीएम मो.सोहैल के कार्यों की सराहना की और शुभकामनाएं दी |

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मधेपुरा अब विकास की नई इबारत लिखने लगा है

जिला स्थापना के दिन व्यस्त कार्यक्रमों के बावजूद डायनेमिक डी.एम. मो.सोहैल ने नीतीश सरकार के सात निश्चयों में से- ‘अवसर बढे, आगे बढ़ें’ के तहत जिले में रोजगारोन्मुखी छह शिक्षण संस्थानों के निर्माण हेतु समय निकालकर टीम के साथ स्थल निरीक्षण हेतु चल दिये | जिलाधिकारी की टीम में सिविल सर्जन डॉ.गदाधर पाण्डेय सहित जिला शिक्षा पदाधिकारी बद्री नारायण मंडल, अंचलाधिकारी मिथिलेश कुमार एवं भवन निर्माण के अभियंता मधुसूदन कुमार कर्ण भी मौजूद थे|

निरीक्षोपरान्त डी.एम. मो.सोहैल ने मधेपुरा अबतक को बताया कि जिले में दो आई.टी.आई., एक महिला आई.टी.आई., एक एएनएम स्कूल, एक जेएनएम स्कूल और एक पारा मेडिकल प्रशिक्षण संस्थान यानी कुल छह संस्थान खोले जाने हैं | उन्होंने यह भी बताया कि पड़रिया गाँव में केशव कन्या गर्ल्स स्कूल की 22 बीघे जमीन के कुछ हिस्से में एएनएम कॉलेज, जीएनएम (एग्रेड नर्स) कॉलेज तथा पारा मेडिकल कॉलेज खुलेगा|

इसके अलावे उन्होंने कहा कि धुरगाँव पंचायत के नरसिंहबाग़ गाँव में 4 एकड़ 23डी. सरकारी भूमि पर महिला एवं पुरुष आईटीआई के लिए दो मंजिला भवन के साथ-साथ छात्राओं का हॉस्टल भी बनेगा- जिसके लिए सरकारी स्वीकृति भी मिल चुकी है| डी.एम. मो.सोहैल ने बताया कि एक साल के अंतर्गत दोनों जगह भवन निर्माण का कार्य पूरा का लिया जायगा|

विकास के लिए चौकस रहने वाले डी.एम. मो.सोहैल के अनुसार चौसा में बनेगा आईटीआई संस्थान और मधेपुरा प्रखंड के मछबखरा गाँव में रासबिहारी उच्च विद्यालय की 29बीघे जमीन पर उक्त विद्यालय के नाम का सरकारी कॉलेज भवन बनाये जाने हेतु प्रस्ताव बनाने के लिए डी.ई.ओ. बद्री नारायण मंडल को कहा गया है |

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