विगत 2 वर्षों में कोरोना महामारी की कई लहरों ने विशेष रूप से शैक्षणिक संस्थानों की गतिविधियों को तहस-नहस कर दी। कोरोना ने ही कौशिकी क्षेत्र हिन्दी साहित्य सम्मेलन संस्थान के अध्यक्ष हरिशंकर श्रीवास्तव शलभ एवं बीएनएमयू के संस्थापक कुलपति सह कौशिकी के संरक्षक डॉ.रमेन्द्र कुमार यादव रवि सरीखे दो चमकते साहित्यिक सितारों को हमसे छीन लिया और कौशिकी को पंगु बना दिया।
अब सभी संस्थान खुल गए हैं। कोरोना ने लोगों को राहत दी है। ज्ञातव्य हो कि सम्मेलन के सोसाइटी रजिस्ट्रेशन के दरमियान कुल 7 सदस्यों को इसके प्रबंधन का भार सौंपा गया था। जिसमें 3 सदस्य गुजर चुके हैं। इन तीन रिक्त स्थानों पर शेष संचालक स्थायी सदस्यों द्वारा अध्यक्ष के रूप में विभिन्न महाविद्यालयों में प्राचार्य व टीएमबीयू में प्रतिकुलपति रह चुके प्रखर वक्ता डॉ.केके मंडल एवं शेष 2 स्थायी सदस्यों के रूप में पूर्व प्राचार्या व विदुषी डॉ.शांति यादव तथा बीएनएमयू के पीजी जूलॉजी के विभागाध्यक्ष सह हास्य कवि प्रो(डॉ.)अरुण कुमार को सर्वसम्मति से विधिवत चयनित किया गया।
साथ ही बीएन मंडल विश्वविद्यालय के वर्तमान कुलपति प्रो.(डॉ.).आरकेपी रमण को संस्थापक कुलपति डॉ.रवि के संरक्षक वाले रिक्त पद पर एवं कौशिकी के संस्थापक पंडित युगल शास्त्री प्रेम के परिवार के सौरभ कुमार को भी सर्वसम्मति से उपसचिव चयनित किया गया।
पूछे जाने पर सम्मेलन के सचिव प्रो(डॉ.)भूपेन्द्र नारायण यादव मधेपुरी ने कहा कि वर्ष 2014 से 31 मार्च 2021 तक की आय-व्यय का ऑडिट कोलकाता के Bhalotia & Co. द्वारा करा लिया गया है जिसके अनुसार सम्मेलन के पास लगभग ढाई लाख रुपए हैं।
अंत में आयोजित होने वाले कार्यक्रम के बाबत डॉ.मधेपुरी ने कहा कि जल्द ही दिवंगत अध्यक्ष व संरक्षक की स्मृति में एक कार्यक्रम किया जाएगा जिसमें पटना में बिहार दिवस- 2022 पर आयोजित क्वीज में मधेपुरा के जगजीवन आश्रम स्कूल की काजल कुमारी और राहुल कुमार की जोड़ी जिन्होंने सूबे बिहार में प्रथम स्थान प्राप्त की है उन दोनों छात्रों को सम्मानित भी किया जाएगा।